Wednesday, June 03, 2009

क्या है उच्च रक्त चाप और क्यों है वह खतरनाक?


आपने कई लोगों से उच्च रक्त चाप की शिकायत सुनी होगी, विशेषकर अधिक उम्रवाले लोगों से। क्या है उच्च रक्त चाप और वह खतरनाक क्यों है?

शरीर के विभिन्न अंगों तक खून धमनियों में बहते हुए पहुंचता है। ये धमनियां विभिन्न मोटाई की नलियां होती हैं। हृदय जब सिकुड़ता है, तो हृदय के कक्षों में इकट्ठा खून हृदय से जुड़ी धमनियों में बह निकलता है। ये धमनियां लगभग 1,00,000 छोटी धमनियों में बंटकर शरीर के हर कोने में फैली हुई हैं। जब शरीर में बहुत ज्यादा खून होता है या धमनियां संकुचित अवस्था में होती हैं, तब रक्त चाप बढ़ने लगता है।

डाक्टर रक्त चाप मापने के लिए कुहनी के ऊपर गुब्बारेनुमा उपकरण रखकर पट्टी बांध देता है और उपकरण में हवा भरने लगता है। उपकरण से जुड़े एक पैमाने का पारे का स्तंभ उपकरण के भीतर की हवा का दाब दिखाता है। जब उपकरण के भीतर की हवा का दाब खून के दाब के बाराबर हो जाता है, तो पारे का स्तंभ स्थिर हो जाता है, और डाक्टर स्तंभ की ऊंचाई से रक्तचाप का आकलन कर लेता है।

मान लीजिए कि आपका रक्त चाप 110/70 है। अंकों की इस जोड़ी का बड़ा अंक आपके खून के उस वक्त के दाब को दर्शाता है जब आपका हृदय सिकुड़ रहा (यानी धड़क रहा) होता है और आपकी धमनियों में खून बह रहा होता है। छोटा अंक उस समय के रक्त चाप को दर्शाता है जब दो धड़कनों के बीच आपका हृदय सुस्ता रहा होता है। 120/80 का रक्तचाप सामान्य माना जाता है। उच्च रक्त चाप 140/90 से आरंभ होता है।

उच्च रक्त चाप क्यों हानिकारक है? यदि आपका खून आपकी धमनियों की दीवारों पर निरंतर उच्च दबाव बनाए रखे, तो देर-सबेर धमनियां विघटित होने लगेंगी। इस उच्च दबाव के कारण उनमें कोलेस्टेरोल का जमाव भी बढ़ जाएगा। इससे आपके गुर्दे खराब हो सकते हैं और आपको दिल का दौरा पड़ सकता है। यदि धमनियां खून के उच्च दबाव के कारण फट जाएं, तो शरीर के भीतर-भीतर रक्त-स्राव हो सकता है। यदि रक्त-स्राव मस्तिष्क जैसे महत्वपूर्ण अंगों में होने लगे, तो आपकी मौत तक हो सकती है।

उच्च रक्त चाप से बचने के लिए निम्नलिखित सरल उपाय काफी कारगर पाए गए हैं:-

  • यदि आपका वजन अधिक हो, तो वजन घटाने की कोशिश कीजिए। अधिक वजन के कारण शरीर में खून की मात्रा बढ़ जाती है, और आपके हृदय को भी अधिक मेहनत करनी पड़ती है। सबसे अधिक खतरनाक पेट और कमर में चर्बी का जमाव है। यह उच्च रक्तचाप, मधुमेह और हृदय के अनेक रोगों की संभावना बढ़ा देता है।
  • व्यायाम कीजिए। तेज कदमों से चलना, तैरना, साइकिल चलाना आदि व्यायामों के बाद रक्तचाप तेजी से गिरता है। इसका कारण यह है कि व्यायाम करते समय आपकी धमनियां फैलती हैं, ताकि शरीर को अधिक आक्सीजन मिल सके। जब व्यायाम बंद हो जाता है, तो हृदय की धड़कनें तो धीमी हो जाती हैं, पर कुछ और समय के लिए धमनियां फैली ही रहती हैं। इससे रक्तचाप गिर जाता है। नियमित व्यायाम करके आप अपनी धमनियों को अधिकाधिक समय तक फैली अवस्था में बनाए रख सकते हैं और उच्च रक्त चाप पर नियंत्रण पा सकते हैं।
  • भोजन पर ध्यान दीजिए। खाने में नमक की मात्रा बिलकुल कम कर दीजिए। वसायुक्त पदार्थ भी कम खाइए। दिन में कम से कम एक बार पेट भर फल और हरी सब्जियां खाइए। अनेक लोगों में इससे उच्च रक्त चाप कम होते पाया गया है। दूध और दूध से बनी चीजें खाने से भी उच्च रक्त चाप पर नियंत्रण पाने में मदद मिलती है।

2 Comments:

निर्मला कपिला said...

is laabhdayak jaankari ke liye aabhaar

dinesh agarwal said...

koi gharelu upchhar bataye.

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